
डीएम चंद्र भूषण सिंह की अध्यक्षता में जिला स्तरीय सलाहकार समिति एवं जिला स्तरीय समीक्षा समिति की बैठक का आयोजन
मुजफ्फरनगर 20 सितंबर प्राप्त समाचार के अनुसार जिलाधिकारी महोदय श्री चंद्रभूषण सिंह की अध्यक्षता में जिला स्तरीय सलाहकार समिति एवं जिला स्तरीय समीक्षा समिति की बैठक सम्पन्न हुयी। उक्त बैठक में प्राथमिक क्षेत्र में जनपद द्वारा लक्ष्य के सापेक्ष ऋण जमा अनुपात, कृषि ऋण, फसली ऋण, एमएसएमई ऋण इत्यादि पर समीक्षा कर सभी बैंकर्स को निर्देशित किया गया कि सभी बैंक उपलब्ध कराये गये ऋण के सापेक्ष वसूली करना सुनिश्चित करें, यदि वसूली में कही किसी प्रकार की समस्या आ रही है तो अपर जिलाधिकारी (वि0/रा0) से सम्वन्य स्थापित कर अभियान चलाकर वसूली करने में प्रशासन पूर्ण रुप से सहयोग करेगा। यदि बैंको के पास पूंजी रहेगी तो आसानी से जन-मानस एवं विकास कार्यो के लिए ऋण की उपलब्धता सुनिश्चित हो सकेगी।
जिलाधिकारी ने कहा कि सभी बैंकर्स भारतीय रिजर्व बैंक की पॉलिसी के अनुसार ही कार्य करें तथा एन्ट्रोप्रन्योंर की प्रतिभा को पहचान आसानी से ऋण उपलब्ध कराना सुनिश्चित करें तथा कृषि एवं विज्ञान के क्षेत्र में नित नये आयाम गढे जा रहे है, इसकों देखते हुए ऐसे युवा जो स्व-रोजगार से जुडना चाहतें है तथा आत्मनिर्भर बनकर देश में योगदान देना चाहते है, ऐसे युवाओं को अवश्य इन योजनाओं का लाभ दिलाना चाहिए।
बैठक में सहायक आयुक्त, सहकारिता द्वारा भी भारत सरकार एवं राज्य सरकार के द्वारा संचालित योजनाओं के संबंध में भी जानकारी उपलब्ध कराते हुए बताया गया कि यदि कोई पैक्स अथवा एफ0पी0ओ0 कृषि क्षेत्र में कोई प्रोजेक्ट लगाना चाहता है तो उसके लिए भी भारत सरकार एवं राज्य सरकार द्वारा संयुक्त रुप से सब्सिडी उपलब्ध करायी जायेगी।
जिलाधिकारी द्वारा खादी ग्रामोद्योग बोर्ड से संबंधित योजनाएं जैसे पीएमईजीपी योजना, जिला उद्योग केंद्र से संबंधित योजना जैसे एम0वाई0एस0वाई, ओ0डी0ओ0पी0, राष्ट्रीय ग्रामीण आजीविका मिशन, पंडित दीनदयाल उपाध्याय स्वरोजगार योजना, प्रधानमंत्री स्ट्रीट वेंडर, आत्मनिर्भर निधि योजना, उक्त समस्त योजनाओं के कार्यान्वयन के संबंध में संबंधित अधिकारियों द्वारा आंकड़े प्रस्तुत किए गए जिसके उपरांत जिलाधिकारी महोदय द्वारा उक्त बैठक में कहा गया कि शासन द्वारा संचालित समस्त योजनाओं का लाभ जरूरतमंदों तक पहुंचाया जाए। बकायेदारों से ऋण की वसूली समय पर की जाए। जिलाधिकारी द्वारा जिन अधिकारियों के द्वारा योजनाओ का कार्यान्वयन लक्ष्य के सापेक्ष प्राप्त करने में योगदान किया गया उन सभी को प्रोत्साहित किया।